कुंजल क्रिया 101: एक ऐसा योग अभ्यास जो आपके शरीर से टॉक्सिक पदार्थों को बाहर निकाल सकता हैं

कुंजल क्रिया विभिन्न प्रकार के स्वास्थ्य लाभों के साथ आपके शरीर को गंदगी से मुक्ति दे सकती है। तो जानिए कि कैसे यह आपके स्वास्थ्य को प्रभावित करती है।
Kunjal kriya aapke shareer se toxin nikalta hai
कुंजल क्रिया आपके शरीर से टॉक्सिन निकालता हैं। चित्र: शटरस्टॉक
टीम हेल्‍थ शॉट्स Published: 4 Oct 2021, 08:00 am IST
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प्राचीन भारतीय योग अभ्यास व्यायाम और ध्यान तकनीकों का एक संयोजन है, जो मन और शरीर को एकाग्र करता हैं। सदियों से योग ने लोगों को  उनके लचीलेपन, सहनशक्ति, मानसिक स्वास्थ्य और शरीर की समग्र शक्ति में सुधार करने में मदद की है। इसमें कई पोज़, अभ्यास और विविधताएं शामिल हैं, जिन्हें कोई भी अपनी शारीरिक क्षमताओं और चिकित्सा इतिहास की परवाह किए बिना कुछ सावधानियों के साथ कर सकता हैं ।

ऐसे ही एक योग को ‘कुंजल क्रिया’ कहा जाता हैं। इसमें खुद से उल्टी का अभ्यास शामिल है, जो सिस्टम को साफ करता है और आपके पाचन तंत्र, फेफड़े, आंत और भोजन नली को शुद्ध करता है।

कुंजल क्रिया क्या है?

यह हमारे शरीर की अशुद्धियों को दूर करने की एक तकनीक है। इसे पहली बार हठ योग प्रदीपिका में प्रलेखित किया गया था, जो एक प्राचीन योग ग्रंथ है। जिसमें कुंजल क्रिया को एक सफाई तकनीक के रूप में वर्णित किया गया है। यह शरीर को साफ करने और मन को नियंत्रित करने में मदद करती है।

Aapke paachan ko swasth rakhta hai kunjal kriya
आपके पाचन को स्वस्थ रखता हैं कुंजल क्रिया। चित्र : शटरस्टॉक

जर्नल ऑफ आयुर्वेद एंड इंटीग्रेटिव मेडिसिन में प्रकाशित एक शोध के अनुसार, स्व-प्रेरित उल्टी में शामिल होने के बाद एक व्यक्ति को पेट में खालीपन महसूस होता है। खाली पेट खारे पानी के सेवन से उल्टी शुरू हो जाती है और इसके चिकित्सीय लाभ होते हैं।

कैसे होती है कुंजल क्रिया? 

इसके लिए आपको छह से आठ गिलास गुनगुना पानी और प्रति लीटर पानी के लिए एक चम्मच सेंधा या सामान्य नमक की आवश्यकता होगी।

  1. पानी में नमक (1 चम्मच प्रति लीटर) मिलाएं और कागासन की स्थिति (कौवा मुद्रा) में बैठें।
  2. गैग रिफ्लेक्स (gag reflex) पाने के लिए खारा पानी जल्दी पिएं। अब खड़े हो जाएं और उल्टी करने के लिए आगे की ओर झुकें।
  3. एक बार जब आप पेट में खालीपन महसूस करें, तो शवासन में लेट जाएं और लगभग 30 मिनट तक आराम करें।
  4. इसमें उल्टी तुरंत होती है, और सलाह दी जाती है कि जब पहली बार किया जाए तो एक विशेषज्ञ की मदद जरूर लें।

कैसे लाभकारी हैं कुंजल क्रिया? 

1. खांसी और सर्दी से मुकाबला करती है 

यह उल्टी आपको खांसी से राहत दिलाने में मदद करती है और बलगम से छुटकारा दिलाती है। कुंजल क्रिया फेफड़ों की मांसपेशियों के सहनशक्ति को बढ़ाती हैं। इस अभ्यास के कारण  फेफड़े साफ होते हैं, जिससे आपको बेहतर सांस लेने में मदद मिलती है। यह  खांसी और सर्दी के लक्षणों से राहत देता है।

2. वजन को नियंत्रित और पाचन को स्वस्थ रखती है

इस तकनीक को करते समय, पेट की मांसपेशियां सिकुड़ जाती हैं और वसा कम हो जाती है। कुंजल क्रिया भी फैट  को कम करने में मदद करती है क्योंकि शरीर से अशुद्धियाँ दूर हो जाती हैं। यह पाचन तंत्र को स्वस्थ रखने वाली क्रिया हैं।मांसपेशियों के सिकुड़न के कारण पाचन में सुधार होता है।

Aapke swasthya ke liye faydemand hai kunjal kriya
आपके स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद हैं कुंजल क्रिया। चित्र: शटरस्टॉक

3. तनाव और चिंता को कम करती है 

जैसे-जैसे तकनीक का प्रदर्शन करते हुए शरीर में रक्त का प्रवाह बढ़ता है, वैसे-वैसे आपका तनाव कम हो सकता हैं। अच्छे ब्लड सर्कुलेशन के कारण ऑक्सीजन आपके शरीर के हर हिस्से में पहुँचती है, जिससे हार्ट रेट कम हो जाती है, सांस लेना आसान हो जाता है और ब्लड प्रेशर कम हो जाता है। इसलिए, कुंजल क्रिया के अभ्यास के कारण तनाव कम हो सकता है।

सावधानी के लिए, इस तकनीक का अभ्यास गर्भवती महिलाओं, पेट की सर्जरी कराने वाले लोगों, 16 वर्ष से कम उम्र के बच्चों और हृदय रोगों जैसी पुरानी स्थितियों से निपटने वाले लोगों द्वारा नहीं किया जाना चाहिए।

यह तकनीक महीने में एक या दो बार की जाती है। इससे टॉक्सिक पदार्थों से शरीर की शुद्धि हो जाती हैं और स्वास्थ्य सुधार में मदद मिल सकती है!

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